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AAP विधायक सौरभ भारद्वाज और आतिशी ने दिल्ली के मंत्री पद की शपथ ली, दोनों को ये विभाग मिला

नई दिल्ली। दिल्ली में गुरुवार को आम आदमी पार्टी के विधायक सौरभ भारद्वाज और आतिशी ने मंत्री पद की शपथ ली। आतिशी को शिक्षा, PWD, बिजली और पर्यटन ‍‍विभाग सौंपे गए तो वहीं भारद्वाज को स्वास्थ्य, शहरी विकास, जल और उद्योग विभाग दिए गए। इस मौके पर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल सहित दिल्ली सरकार के अन्य मंत्री भी मौजूद रहें। बता दें कि भारद्वाज, अरविंद केजरीवाल की 49 दिन की पहली सरकार में ट्रांसपोर्ट मंत्री रह चुके हैं दूसरी ओर आतिशी, एजुकेशन सेक्टर में सिसोदिया की सलाहकार रही हैं। गौरतलब है कि दोनों विधायकों को मंगलवार को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की तरफ से दिल्ली कैबिनेट में मंत्री नियुक्त किया गया था।

कौन हैं सौरभ भारद्वाज

सौरभ भारद्वाज तीन बार विधायक रहे हैं। साल 2013 में वो पहली बार विधायक चुने गए। फिलहाल वो दिल्ली के ग्रेटर कैलाश से विधायक हैं और जल बोर्ड में उपाध्यक्ष की जिम्मेदारी संभाल रहे हैं। इसके अलावा वो केजरीवाल की 49 दिनों की पहली सरकार में मंत्री भी रह चुके हैं।

कौन हैं आतिशी मार्लेना

साल 2019 के लोकसभा चुनाव में गौतम गंभीर के खिलाफ आतिशी मैदान में उतरीं थी। हालांकि, उन्हें इसमें जीत हासिल नहीं हो सकी। 2020 में उन्होंने कालकाजी विधानसभा से चुनावी लड़ाई लड़ी और जीत हासिल किया। आतिशी ने मनीष सिसोदिया के साथ शिक्षा के क्षेत्र में काम किया है।

तिहाड़ जेल में हैं जैन

दिल्ली के मंत्रियों मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन ने उन पर लगे भ्रष्टाचार के आरोपों के बीच मंगलवार को कैबिनेट से इस्तीफा दे दिया। अधिकारियों ने बताया कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने उनके इस्तीफे स्वीकार कर लिए हैं। केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI) ने वर्ष 2021-22 के लिए शराब नीति बनाने और उसे लागू करने में कथित भ्रष्टाचार को लेकर उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया को रविवार शाम (26 फरवरी) गिरफ्तार किया था। वहीं जैन धनशोधन के एक मामले में तिहाड़ जेल में हैं।

26 फरवरी को गिरफ्तार हुए थे सिसोदिया

मनीष सिसोदिया को 26 फरवरी को दिल्ली से गिरफ्तार किया गया था। दो दिन बाद उन्होंने 28 फरवरी 2023 को दिल्ली के डिप्टी सीएम पद से इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद 4 मार्च 2023 को राउज एवेन्यू कोर्ट ने सिसोदिया की केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) रिमांड बढ़ा दी। विशेष न्यायाधीश एमके नागपाल ने मनीष सिसोदिया की सीबीआई को दो दिन की और रिमांड मंजूर की थी। कोर्ट ने 51 वर्षीय सिसोदिया द्वारा दायर जमानत याचिका पर सीबीआई को नोटिस भी जारी किया और मामले को 10 मार्च के लिए लिस्टेट किया है।

हालांकि, सीबीआई सिसोदिया की रिमांड बढ़वाना चाहती है। उसने कोर्ट में कहा था- अभी भी असहयोगी हैं और हमें दो व्यक्तियों के साथ उनका आमना-सामना करने के लिए और हिरासत की आवश्यकता है। सीबीआई ने अदालत से कहा था- सिसोदिया के मेडिकल में काफी समय चला गया। सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर करने में एक पूरा दिन चला गया, जिसे खारिज कर दिया गया।”

सिसोदिया की तरफ से सीबीआई की रिमांड का विरोध करते हुए वरिष्ठ वकील ध्यान कृष्णन ने कहा कि पहले दिन से आज तक में क्या अंतर है? क्या मेरे घर और ऑफिस में छापा मारने, मुझे सीबीआई हिरासत में रखने से कोई दस्तावेज तैयार होगा? क्या इसका कोई तर्क है?

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