
नई दिल्ली। भारत के हेल्थ सेक्टर की वृद्धि जनवरी 2025 में धीमी पड़ गई, जो पिछले 14 महीनों में सबसे कम रही। एचएसबीसी इंडिया सर्विसेज बिजनेस एक्टिविटी इंडेक्स (सर्विसेज पीएमआई) दिसंबर में 59.2 से घटकर जनवरी में 57.9 हो गया। यह गिरावट दर्शाती है कि नए साल की शुरुआत में भारतीय प्राइवेट सेक्टर की रफ्तार कम रही, हालांकि पिछले सर्वे में व्यापार के भविष्य को लेकर उम्मीदें सकारात्मक थीं।
बेहतर रहा मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर का प्रदर्शन
जहां हेल्थ सेक्टर की वृद्धि धीमी हुई, वहीं मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर ने बेहतर प्रदर्शन किया। एचएसबीसी फ्लैश इंडिया मैन्युफैक्चरिंग पीएमआई दिसंबर के 56.4 से बढ़कर जनवरी में 58.0 पर पहुंच गया, जो जुलाई 2024 के बाद का सबसे अच्छा स्तर है। रिपोर्ट के अनुसार, दोनों क्षेत्रों में बिक्री बढ़ी, लेकिन रफ्तार अलग रही। कारखानों के ऑर्डर छह महीने में सबसे तेज बढ़े, जबकि सेवाओं की नई मांग नवंबर 2023 के बाद सबसे धीमी रही। भारत के बड़े हेल्थ सेक्टर के कारण कुल बिक्री वृद्धि धीमी रही।
मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर के लिए 2025 की मजबूत शुरुआत
भारत का मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर साल 2025 की मजबूत शुरुआत कर रहा है। यहां प्रोडक्शन और नए ऑर्डर फिर उभरने लगे हैं। विशेष रूप से एक्सपोर्ट ऑर्डर्स में वृद्धि और इनपुट लागत में कमी सेक्टर के लिए सकारात्मक संकेत हैं। हालांकि, घरेलू हेल्थ सेक्टर में नए व्यवसायों की गिरावट संभावित चुनौती का संकेत देती है। इसके बावजूद, दिसंबर की तुलना में मैन्युफैक्चरिंग और सेवाओं के एक्सपोर्ट में वृद्धि हुई है, जो छह महीनों में अंतरराष्ट्रीय बिक्री का सबसे तेज विस्तार है। कंपनियों ने अमेरिका, एशिया और यूरोप में लाभ दर्ज किया है।