
नई दिल्ली। चक्रवात दाना का असर दिखना शुरू हो गया है। बंगाल की खाड़ी से उठा चक्रवाती तूफान ‘दाना’ गुरुवार रात करीब 12:30 बजे ओडिशा के तट से टकराया। केंद्रपाड़ा जिले के भितरकनिका और भद्रक जिले के धामरा के पास तूफान 110-120 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से गुजरा। ‘दाना’ के असर से ओडिशा में बारिश हो रही है। 5.84 लाख लोगों को सुरक्षित जगहों पर शिफ्ट किया गया है। तूफान का असर 7 राज्यों में देखने को मिल रहा है।
‘zero casualty’ का लक्ष्य पूरा
ओडिशा के मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी ने चक्रवाती तूफान दाना के बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि, Cyclone Dana ने 24 और 25 अक्टूबर की मध्यरात्रि को भितरकनिका और धामरा तटों के बीच लैंडफॉल किया। यह प्रोसेस सुबह 7:00 बजे तक जारी रही, सतर्क प्रशासन और तैयारियों की वजह से कोई जान की हानि नहीं हुई। सरकार ने ‘zero casualty’ का लक्ष्य हासिल कर लिया।
आज दोपहर तक कमजोर पड़ेगा तूफान
IMD के अनुसार, फिलहाल चक्रवात उत्तरी तटीय ओडिशा के ऊपर केंद्रित है। तट से टकराने की प्रक्रिया जारी है। चक्रवात के लैंडफॉल की प्रक्रिया अगले 1-2 घंटों तक जारी रहेगी। तूफान उत्तर ओडिशा में लगभग पश्चिम-उत्तरपश्चिम की ओर बढ़ने की संभावना है। 25 अक्टूबर की दोपहर तक दाना ‘गंभीर’ श्रेणी से हटकर धीरे-धीरे चक्रवाती तूफान में बदलकर कमजोर होगा, इसकी पूरी संभावना है।
साइक्लोन ‘दाना’ का 7 राज्यों में असर
- ओडिशा के 30 में से 14 तटीय जिलों में चक्रवात का व्यापक असर दिखा। IMD ने 26 अक्टूबर तक अंगुल, नयागढ़, बालेश्वर, मयूरभंज, भद्रक, केंद्रपाड़ा, जगतसिंहपुर, कटक और अन्य जिलों में भारी से बहुत भारी बारिश की संभावना है। इन क्षेत्रों में 6,000 राहत शिविर तैयार किए गए हैं। साथ ही NDRF की 20, ODRF की 51 और फायर ब्रिगेड की 178 टीमों की तैनाती की गई है। होटल बुकिंग रोक दी गई है।
- पश्चिम बंगाल के पूर्व और पश्चिम मेदिनीपुर, दक्षिण और उत्तर 24 परगना, हावड़ा, हुगली और कोलकाता भारी बारिश का अनुमान है। आठ जिलों में 23 से 26 अक्टूबर तक स्कूल बंद कर दिए गए हैं और 85 राहत टीमें तैनात की गई हैं।
- आंध्र प्रदेश के रायलसीमा क्षेत्र में भारी बारिश के साथ 30 से 50 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से हवाएं चलीं। यहां राहत कार्यों के लिए NDRF की 9 टीमें तैनात की गई हैं।
- झारखंड के पूर्वी सिंहभूम, पश्चिमी सिंहभूम, सरायकेला-खरसावां, सिमडेगा और अन्य जिलों में भी बारिश का असर दिखेगा। राज्य में राहत कार्यों के लिए 9 NDRF टीमें तैनात की गई हैं।
- छत्तीसगढ़ में 8 जिलों के लिए येलो अलर्ट जारी किया गया है। 25 से 27 अक्टूबर तक छिटपुट बारिश और 40 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चलने की संभावना है। यहां भी एक NDRF टीम तैनात की गई है।
- बिहार के भागलपुर, बांका, जमुई, मुंगेर, गया, पूर्णिया और अन्य जिलों में इसका असर दिख रहा है। कई जिलों में 20 से 40 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवा चली।
- तमिलनाडु और दक्षिण भारत के अन्य हिस्सों में भी अगले पांच दिनों तक भारी बारिश की चेतावनी जारी की गई है।
288 राहत और आपदा प्रबंधन टीमें तैनात
ओडिशा सरकार ने आपदा प्रबंधन के लिए 288 टीमें तैनात की हैं। इनमें NDRF, ODRF और फायर ब्रिगेड की टीमें शामिल हैं। तूफान से प्रभावित क्षेत्रों में 14 जिलों के सभी स्कूल, कॉलेज और पर्यटन स्थल 25 अक्टूबर तक बंद कर दिए गए हैं। ओडिशा हाईकोर्ट को भी 25 अक्टूबर तक बंद रखने का निर्णय लिया गया है। मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी ने तूफान से निपटने के लिए उच्च स्तरीय बैठक की और सभी तैयारियों की समीक्षा की। सरकार ने होटल बुकिंग भी अगले चार दिनों के लिए रोक दी है और सरकारी कर्मचारियों की छुट्टियां रद्द कर दी गई हैं।
कैसे पड़ा चक्रवात का नाम ‘दाना’
‘दाना’ नाम कतर द्वारा प्रस्तावित किया गया है, जिसका अर्थ ‘उदारता’ होता है। चक्रवातों का नामकरण विश्व मौसम विज्ञान संगठन (WMO) के दिशा-निर्देशों के अनुसार किया जाता है। साल 2000 में एशिया और प्रशांत क्षेत्र के लिए संयुक्त राष्ट्र आर्थिक और सामाजिक आयोग के तहत यह प्रक्रिया शुरू हुई थी। इस सूची में बांग्लादेश, भारत, मालदीव, म्यांमार, ओमान, पाकिस्तान, श्रीलंका और थाईलैंड शामिल थे।
2018 में इस सूची में पांच और देशों ईरान, कतर, सऊदी अरब, UAE और यमन को भी जोड़ा गया। नामकरण का उद्देश्य चक्रवात प्रभावित देशों में जागरुकता बढ़ाना और संचार प्रणाली को बेहतर बनाना है। चक्रवातों के नाम क्षेत्रीय भाषाओं से लिए जाते हैं, जिससे सांस्कृतिक आदान-प्रदान को बढ़ावा मिलता है।