राष्ट्रीय

अडाणी मुद्दे पर चर्चा को लेकर राज्यसभा में दो बार हंगामा, जेपीसी या SC की निगरानी में जांच कराने की मांग

नई दिल्ली। गौतम अडाणी के मुद्दे पर चर्चा की मांग पर शुक्रवार को राज्यसभा में जमकर हंगामा हुआ। विपक्षी पार्टियों ने सूची में शामिल कामकाज को निलंबित कर नियम 267 के तहत अडाणी के मुद्दे पर चर्चा की मांग की। विपक्षी सांसदों के हंगामे के चलते राज्यसभा की कार्यवाही पहले सुबह, उसके बाद दोपहर ढाई बजे स्थगित करनी पड़ी। बाद में कार्यवाही पूरे दिन के लिए स्थगित कर दी गई।

कार्यवाही शुरू होते ही हंगामा

सुबह 11 बजे सदन की कार्यवाही शुरू हुई। सभापति जगदीप धनखड़ ने बताया कि उन्हें विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे और अन्य सदस्यों की तरफ से नियम 267 के तहत 15 नोटिस मिले हैं। सभी नेताओं के नोटिस एक जैसे थे। धनखड़ ने विपक्ष से कहा- यह स्थान व्यवधान का नहीं बल्कि चर्चा और बहस का है, ताकि लोगों की आकांक्षाओं को पूरा किया जा सके। धनखड़ ने कहा कि इनमें से कोई भी नोटिस स्वीकार किए जाने की अनिवार्यता पूरी नहीं करता है। यह कहकर उन्होंने नोटिसों को अस्वीकार कर दिया। धनखड़ के नोटिस लौटाते ही विपक्षी दलों ने हंगामा शुरू कर दिया।

दोपहर बाद तक शोरगुल जारी रहा

धनखड़ ने सदस्यों से पहले से निर्धारित कामकाज पूरा करने के लिए शांति बनाने की अपील की, लेकिन हंगामा कर रहे सदस्यों पर उनकी बात का कोई असर नहीं हुआ। इसके बाद धनखड़ ने सदन की कार्यवाही 11:08 बजे दोपहर ढाई बजे तक के लिए स्थगित कर दी। ढाई बजे दोबारा बैठक शुरू होने के बाद भी यहां शोरगुल जारी रहा। विपक्षी सदस्य नियम 267 के तहत चर्चा कराने की मांग करते रहे। हंगामे के बीच सभापति धनखड़ ने गैर-सरकारी कामकाज शुरू कराने का प्रयास किया। लेकिन विपक्षी सदस्यों ने नियम 267 के तहत अपने नोटिस को लेकर हंगामा शुरू कर दिया।

आप सांसद संजय सिंह को चेतावनी

हंगामे के बीच ही धनखड़ ने आम आदमी पार्टी के सदस्य संजय सिंह को कार्रवाई की चेतावनी दी। इसके बाद उन्होंने 2:33 बजे कार्यवाही पूरे दिन के लिए स्थगित कर दी। उच्च सदन में हंगामे की वजह से शुक्रवार को भी शून्यकाल और प्रश्नकाल नहीं हो पाए। विपक्षी सांसद अडाणी ग्रुप से जुड़े मामले पर चर्चा और आरोपों की जांच कराए जाने की मांग कर रहे हैं। कांग्रेस और कुछ अन्य विपक्षी दलों की मांग है कि पूरे मामले की संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) द्वारा या फिर सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में जांच हो। इस विषय पर चर्चा कराने और इसकी जांच के लिए संयुक्त संसदीय समिति गठित किए जाने की मांग को लेकर विपक्षी सदस्यों ने गुरुवार को भी संसद के दोनों सदनों में हंगामा किया था जिससे कार्यवाही बाधित रही थी।

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ज्यादातर नोटिस एक जैसे

नोटिस देने वालों में कांग्रेस सांसद खड़गे के अलावा सैयद नासिर हुसैन, प्रमोद तिवारी, कुमार केतकर, अमी याज्ञनिक और नीरज डांगी के नोटिस एक समान थे। इनके अलावा जॉन ब्रिटास, ए ए रहीम, वी शिवदासन (सभी माकपा) और डीएमके के टी शिवा के नियम 267 संबंधी नोटिस भी एक जैसे हैं। के. केशव राव (टीआरएस), इलामारम करीम (माकपा), संजय सिंह (आम आदमी पार्टी) और प्रियंका चतुर्वेदी (शिवसेना) ने भी नियम नोटिस 267 के तहत नोटिस दिए हैं।

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