पूरे विश्व में पहाड़ों के महत्व के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए हर साल 11 दिसंबर को ‘अंतर्राष्ट्रीय पर्वत दिवस’ मनाया जाता है। बता दें कि पर्वतीय संरक्षण दीर्घकालिक विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। वहीं पृथ्वी का लगभग 27% हिस्सा पहाड़ों से ढका हुआ है। संयुक्त राष्ट्र के मुताबिक, दुनिया की लगभग 15% आबादी पहाड़ों पर रहती है। ऐसे में ग्लोबल वॉर्मिंग और दूसरे कारणों से पहाड़ों का जीवन भी खतरे में है।
पहाड़ों का महत्व
बर्फ से ढकी खूबसूरत वादियां और वन क्षेत्रों से घिरे पहाड़ कुदरत का अनमोल तोहफा है। इसे संरक्षित रखना हमारी जिम्मेदारी है। बता दें कि भारत पहाड़ों का देश है। ये सभी पहाड़ अपने आप में खास हैं। ये कई पशु, पक्षियों का घर भी है। दुनिया में कई लोग अपना जीवन पहाड़ों पर गुजार देते हैं। वहीं पर्वत केवल हमारे पर्यावरण के लिए ही नहीं बल्कि पशु पक्षियों और मानव जाति के लिए भी बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है।
अंतर्राष्ट्रीय पर्वत दिवस का इतिहास
संयुक्त राष्ट्र ने 1992 में सतत विकास आयोग (CSD) के दौरान फ्रैजाइल इकोसिस्टम का प्रबंधन- सतत पर्वतीय विकास का डाक्यूमेंट अडॉप्ट किया। इसके अनुसार पहाड़ों की सुरक्षा और संरक्षण की आवश्यकता थी। इसे देखने हुए संयुक्त राष्ट्र महासभा ने 2003 में 11 दिसंबर को अंतर्राष्ट्रीय पर्वत दिवस के रूप में मनाने की घोषणा कर दी।
इस साल की थीम
हर साल अंतर्राष्ट्रीय पर्वत दिवस एक खास थीम के साथ मनाया जाता है। इस साल के अंतर्राष्ट्रीय पर्वत दिवस की थीम ‘सतत पर्वतीय पर्यटन’ है।