जबलपुरमध्य प्रदेश

कहीं अडानी और अम्बानी को कैंट की जमीन न बेच दी जाये, कांग्रेस के पूर्व कैन्ट बोर्ड उपाध्यक्ष ने दो टूक कहा

जबलपुर। कैंट के जिन क्षेत्रों को नगर निगम में शामिल किया जा रहा है वो स्वागत योग्य है लेकिन कहीं सरकार वो जगह खाली करावाकर उसे अडानी या अम्बानी को बेच दी तो कैंटवासी उग्रआंदोलन करेगें। ये शनिवार को कांग्रेस के पूर्व कैन्ट बोर्ड उपाध्यक्ष अभिषेक चौकसे चिन्टू ने दोपहर को सदर कॉफी हाउस में एक पत्रकारवार्ता कहीं। साथ ही उन्होने कहां कि रक्षा मंत्रालय ने छावनी परिषद के चुनाव रद् कर दिये है। जिससे कांग्रेस की जीत हुई है। चौकसे ने आगे कहा कि उन्होंने कैण्टवासियों के साथ कई बार इस विषय को लेकर आंदोलन किया था। जिसकी वजह से आज रक्षा मंत्रालय को 57 जगह चुनाव रद् करने पड़े है।

24000 मतदाताओं के नाम काटे गए

इस संबंध में बताया गया है कि छावनी के करीब 35 बगीचे, करौंदी बस्ती एवं बंगलो वाला क्षेत्र 150 एकड़ भूमि पर बना हुआ है। जहां पर हजारों मतदाता निवास करते है। इसके साथ ही करौंदी वार्ड क्रमांक 7 में करीब 5 हजार वोटर पिछले कई सालों से निवास कर रहे है। इन सबको मिलकर 24000 के करीब मतदाताओं के नाम मतदाता सूची से गायब हो गये है। जिन्हें आज नहीं जोड़ा गया है।

कहीं अडानी और अम्बनी को ये जमीन न बेच दे

कैंट कांग्रेस की मांग है कि यदि बाजार का एरिया नगर निगम में शामिल किया जाता है तो साथ ही बगीचे करौंदी एवं बंगले एरियों को भी उसमें शामिल किया जाये। कहीं ऐसा न हो कि इन जगहों को खाली कराकर अडानी एवं अम्बनी को जगह बेच न दी जाये। अगर कहीं ऐसा होता है तो समस्त छावनी क्षेत्र के नागरिकों को साथ इसका घोर विरोध किया जायेगा।

जमीन अदला बदली की जाये कांग्रेस की मांग

कैंट कांग्रेस की मांग है कि तिलहरी भटोली में 350 एकड़ की जमीन प्रदेश सरकार की हैं जो आर्मी उपयोग कर रही है। वहीं छावनी में बंगले, बगीचे एवं करौदी बस्ती की जमीन 150 एकड़ है। अगर इन दोनों जमीन की अदला बदली कर दी जाये तो कैंट के इन लोगों को जमीनी अधिकार मिल जायेगें।

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