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मप्र की सियासत के पलटीमार नेता; कपड़ों की तरह बदल रहे पार्टियां

चुनावी सरगर्मी के बीच दूसरे दलों की सवारी कर रहे दल-बदलू

भोपाल। मध्यप्रदेश में विधानसभा की चुनावी सरगर्मी और टिकट को लेकर चल रही उठा-पटक के बीच राजनेताओं की निष्ठाएं और दल-बदल का सिलसिला भी तेज हो गया है। सियासी स्वार्थ की खातिर कई नेता तो ऐसे भी हैं जो हर बार नई पार्टी से किस्मत आजमाते दिख जाएंगे। ऐसे दल-बदलू नेता, राजनीति के पलट-बिहारी लगातार सुर्खियां पा रहे हैं। प्रदेश में भाजपा-कांग्रेस सहित अन्य दलों में भी ऐसे नेता हैं जिन्होंने दूसरे दलों की सवारी कर ली। कांग्रेस और भाजपा में दो-दो बार फेरी लगा चुके विंध्य अंचल के पूर्व विधायक अभय मिश्रा का इस बार भाजपा से दो महीने में ही मोहभंग हो गया। मैहर विधायक नारायण त्रिपाठी भी कई बार पार्टी बदल चुके हैं। कांग्रेस और भाजपा सरकार में मंत्री रहे बुंदेलखंड के वरिष्ठ नेता अखंड प्रताप सिंह इस चुनाव के ठीक पहले आम आदमी पार्टी की सदस्यता ले चुके हैं। अलग विंध्य के लिए अपनी पार्टी बना चुके विधायक त्रिपाठी के अब फिर कांग्रेस में जाने की चर्चा है। सपा, कांग्रेस के बाद भाजपा से विधायक त्रिपाठी कई बार पार्टी और निष्ठा बदलने के बाद नए ठिकाने की तलाश में है। चुनाव लड़ने और पार्टी ज्वाइन करने का ऐलान बाकी है।

इनका भी हुआ मोहभंग

कोलारस से भाजपा विधायक वीरेंद्र रघुवंशी ने कांग्रेस की सदस्यता ले ली। टिकट कटने पर भाजपा विधायक केदार शुक्ला भी बगावत पर उतारू हैं। पूर्व विधायक ममता मीणा आप से चुनाव मैदान में हैं।

सरकार ही बदल दी :

प्रदेश में मार्च 2020 के सियासी उलटफेर के बाद 15 महीने की कमलनाथ सरकार गिर चुकी है। सिंधिया समर्थक कांग्रेस के 22 विधायकों ने विधायकी छोड़कर भाजपा की सरकार बनवा दी थी।

टिकट से बदली निष्ठाएं

अभय-नीलम मिश्रा : विंध्य अंचल में सिमरिया से विधायक रहे मिश्रा और उनकी पत्नी पूर्व विधायक नीलम मिश्रा कांग्रेस से भाजपा में आए। 2018 का चुनाव उन्होंने मंत्री राजेंद्र शुक्ला के खिलाफ निर्दलीय लड़ा। फिर कांग्रेस में चले गए। दो महीने पहले धूमधाम से भाजपा में आए अब फिर इस्तीफा दे दिया।

फूल सिंह बरैया :चार दलों की सवारी कर चुके बसपा के पूर्व विधायक बरैया कांग्रेस के टिकट पर चुनाव मैदान में हैं। समता समाज और कुछ समय भाजपा के पाले में रहे। बहुजन संघर्ष दल बनाने के बाद कांग्रेस में लौट आए।

दीपक जोशी : पूर्व मुख्यमंत्री स्व. कैलाश जोशी के पुत्र पूर्व मंत्री दीपक जोशी का भाजपा छोड़कर कांग्रेस में जाना सुर्खियों में रहा।

महेंद्र बौद्ध : कांग्रेस छोड़कर बसपा में शामिल हुए पूर्व मंत्री महेंद्र बौद्ध का अब बसपा से मोहभंग हो गया। दो दिन पहले कांग्रेस में लौट आए।

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