
जम्मू-कश्मीर। मंगलवार को जम्मू-कश्मीर के प्रसिद्ध पर्यटन स्थल पहलगाम में एक भीषण आतंकी हमले में अब तक 28 पर्यटकों की मौत हो गई है, जबकि 20 से अधिक लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं। यह हमला उस वक्त हुआ जब पर्यटकों की एक बस पहलगाम से गुजर रही थी। हमले के तुरंत बाद घटनास्थल पर सुरक्षाबलों ने मोर्चा संभाला और घायल पर्यटकों को अस्पताल पहुंचाया गया।
TRF ने ली हमले की जिम्मेदारी
इस हमले की जिम्मेदारी पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा की सहयोगी यूनिट द रेजिस्टेंस फ्रंट ने ली है। TRF लंबे समय से घाटी में आतंक फैलाने में सक्रिय रहा है। भारतीय खुफिया एजेंसियों के अनुसार, इस हमले का मास्टरमाइंड सैफुल्लाह खालिद है, जो TRF और लश्कर का एक वरिष्ठ कमांडर है।
सैफुल्लाह खालिद है हमले का मास्टरमाइंड
सैफुल्लाह खालिद को सैफुल्लाह कसूरी के नाम से भी जाना जाता है। वह लश्कर-ए-तैयबा का डिप्टी चीफ और संस्थापक आतंकी हाफिज सईद का करीबी सहयोगी है। सैफुल्लाह पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) के रावलकोट का निवासी है और वहीं से जम्मू-कश्मीर में आतंकी गतिविधियों को संचालित करता रहा है।
मार्च 2025 का भड़काऊ भाषण आया सामने
हाल ही में सैफुल्लाह का एक वीडियो सामने आया है, जिसमें वह पाकिस्तान सरकार को चेतावनी देते हुए कह रहा है कि कश्मीर मुद्दे को कभी शांत नहीं होने देना चाहिए। यह वीडियो मार्च 2025 का बताया जा रहा है, हालांकि इसकी सटीक तारीख और लोकेशन स्पष्ट नहीं है। अपने भाषण में उसने पाकिस्तान के तत्कालीन विदेश सचिव शहरयार खान अफ्रीदी और साजिशकर्ताओं पर तीखा हमला बोला।
सैफुल्लाह की चेतावनी, कश्मीर ठंडा करोगे तो बलूचिस्तान गर्म होगा
भाषण में सैफुल्लाह ने पाकिस्तान सरकार को आरोपित करते हुए कहा कि वह अंतरराष्ट्रीय दबाव में कश्मीर मुद्दे पर झुक गई है। उसने कहा, “दुश्मन बड़ा कमीना है, वह मस्जिदों, मदरसों, बाजारों और दर्सगाहों को भी नहीं छोड़ेगा। कश्मीर को अगर तुम ठंडा करोगे, तो वह बलूचिस्तान को गर्म कर देगा।”
भारत के खिलाफ भड़काऊ बातें
सैफुल्लाह ने अपने भाषण में भारत द्वारा 2019 में जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने के फैसले की निंदा की। उसने इसे कश्मीरी मुसलमानों पर ज़ुल्म बताते हुए पाकिस्तान सरकार को लताड़ लगाई कि वह सिर्फ सूदी कर्जों और अंतरराष्ट्रीय मंचों पर छवि बचाने के लिए कश्मीर के मुद्दे को भुला चुकी है।
कैसे हुई TRF की स्थापना
TRF का गठन वर्ष 2019 में अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद हुआ था। पहले यह लश्कर की एक ऑनलाइन यूनिट थी, लेकिन बाद में यह एक पूर्ण आतंकी संगठन बन गया। TRF को बनाने का श्रेय भी सैफुल्लाह खालिद को ही दिया जाता है।
भारत सरकार ने TRF को आतंकवादी संगठन घोषित किया
जनवरी 2023 में भारत के गृह मंत्रालय ने गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम के तहत TRF को आतंकी संगठन घोषित किया। 2024 में केंद्र सरकार ने TRF पर पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया। मंत्रालय के अनुसार, TRF सुरक्षाबलों और आम नागरिकों की हत्या, आतंकियों की भर्ती, सीमा पार से हथियारों और नशीले पदार्थों की तस्करी में सक्रिय रूप से शामिल रहा है।
इस घटना के बाद देशभर में आक्रोश फैल गया है। केंद्र सरकार और सुरक्षा एजेंसियों ने जम्मू-कश्मीर समेत सभी संवेदनशील इलाकों में हाई अलर्ट घोषित कर दिया है। एनआईए और सेना की टीमें पहलगाम पहुंच चुकी हैं और हमले से जुड़े सुराग इकट्ठा करने में जुटी हैं।
प्रधानमंत्री और गृहमंत्री ने जताया शोक
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह ने हमले की निंदा करते हुए मृतकों के परिजनों के प्रति संवेदना व्यक्त की है। सरकार ने इस हमले में मारे गए लोगों के परिवारों को मुआवज़ा देने और घायलों के इलाज की संपूर्ण व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं।