
इजरायल । मध्य-पूर्व में हालात तेजी से बिगड़ते जा रहे हैं। गुरुवार सुबह ईरान द्वारा इजरायल के नागरिक और रणनीतिक ठिकानों पर किए गए अभूतपूर्व मिसाइल हमले के बाद क्षेत्र में तनाव चरम पर पहुंच गया है। हमले में बेर्शेबा स्थित सोरोका अस्पताल और तेल अवीव का इजरायली स्टॉक एक्सचेंज भी निशाने पर रहा, जिसे अब तक का सबसे बड़ा हमला बताया जा रहा है। इस हमले के जवाब में इजरायल ने ईरान के खोंदाब क्षेत्र स्थित अराक परमाणु रिएक्टर पर बड़ा सैन्य हमला किया है।
नेतन्याहू का तीखा बयान
इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने ईरान के हमले की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि तेहरान के आतंकी तानाशाहों ने हमारे नागरिकों को निशाना बनाया है। हम इसका पूरा हिसाब लेंगे। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि इजरायली रक्षा बलों (IDF) को निर्देश दिए गए हैं कि वे ईरान के रणनीतिक और सरकारी ठिकानों पर हमलों की तीव्रता बढ़ाएं।
रक्षा मंत्री ने बताया युद्ध अपराध
इजरायल के रक्षा मंत्री इजरायल काट्ज ने तीखी प्रतिक्रिया में कहा कि डरपोक ईरानी तानाशाह बंकरों में छिपकर अस्पतालों और रिहायशी इलाकों को निशाना बना रहा है। यह युद्ध अपराध है और खामेनेई को उनके अपराधों के लिए जवाबदेह ठहराया जाएगा।
इजरायल का जवाबी हमला
ईरान के हमले के कुछ ही घंटों बाद, इजरायल ने खोंदाब स्थित अराक परमाणु रिएक्टर पर लक्षित हमला किया। IDF की प्रेस विज्ञप्ति के अनुसार, यह रिएक्टर उच्च-स्तरीय प्लूटोनियम उत्पादन के लिए डिज़ाइन किया गया था और भविष्य में परमाणु हथियार निर्माण में उपयोग हो सकता था।
सेना ने कहा कि हमले में विशेष रूप से उन हिस्सों को निशाना बनाया गया जो प्लूटोनियम उत्पादन में सहायक थे, ताकि रिएक्टर की पुनर्स्थापना को असंभव बनाया जा सके।
40 लड़ाकू विमानों की बड़ी कार्रवाई
इजरायल के इस जवाबी हमले में 40 से अधिक लड़ाकू विमानों ने हिस्सा लिया।
बमबारी ईरान के कई सैन्य, औद्योगिक और मिसाइल निर्माण स्थलों पर की गई, जिनमें रॉ मटेरियल उत्पादन संयंत्र, बैलिस्टिक मिसाइलों की असेंबली यूनिट्स, एयर डिफेंस सिस्टम्स और अन्य संवेदनशील प्रतिष्ठान शामिल थे।
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