
पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (PoK) में शनिवार दोपहर झेलम नदी का जलस्तर अचानक बढ़ने से कई इलाकों में बाढ़ जैसे हालात बन गए। प्रशासन ने हट्टियन बाला इलाके में वाटर इमरजेंसी घोषित कर दी है। मस्जिदों से भी लगातार लोगों को सतर्क रहने और सुरक्षित स्थानों पर जाने की अपील की जा रही है। मुजफ्फराबाद के डिप्टी कमिश्नर मुदस्सर फारूक ने दावा किया कि भारत ने जानबूझकर झेलम नदी में सामान्य से अधिक पानी छोड़ा है, जिससे अचानक बाढ़ का खतरा बढ़ गया। उन्होंने लोगों से नदी के किनारे जाने और जानवरों को भी वहां ले जाने से बचने की चेतावनी दी है। हालांकि प्रशासन ने कहा कि घबराने की जरूरत नहीं है। लेकिन एहतियातन सुरक्षा उपाय किए जा रहे हैं।
बिना सूचना पानी छोड़े जाने से बढ़ी चिंता
राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (SDMA) के डायरेक्टर ने बताया कि उन्हें पानी छोड़े जाने की कोई पूर्व चेतावनी नहीं मिली थी। रिपोर्ट्स के अनुसार, मुजफ्फराबाद में झेलम नदी में हर सेकंड 22,000 घन फीट पानी बह रहा है, जिससे गारी दुपट्टा, मझोई और मुजफ्फराबाद जैसे इलाकों के लोगों में डर का माहौल है। फिलहाल किसी बड़े नुकसान की खबर नहीं है।
भारत ने सिंधु जल संधि रोकी
24 अप्रैल को भारत ने पहलगाम आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान को जिम्मेदार ठहराते हुए सिंधु जल समझौता रोकने का फैसला किया था। भारत ने पाकिस्तान को चिट्ठी लिखकर सूचित किया था कि अच्छे रिश्तों के बिना इस संधि को आगे नहीं बढ़ाया जा सकता। पाकिस्तानी मीडिया का कहना है कि पहले भारत पानी छोड़ने की जानकारी देता था। लेकिन इस बार कोई सूचना नहीं दी गई।