
अमृतसर। भारत ने अफगानिस्तान के प्रति सद्भावना का परिचय देते हुए एक अहम फैसला लिया है। पाकिस्तान द्वारा रास्ता रोके जाने के बावजूद भारत सरकार ने अटारी-वाघा बॉर्डर के जरिए अफगानिस्तानी ट्रकों को भारत में प्रवेश की विशेष अनुमति दी है। शुक्रवार को ऐसी ही एक विशेष अनुमति के तहत 5 ट्रक भारत में दाखिल हुए, जिनमें से 4 में ड्राई फ्रूट्स और एक में मुलेठी लदी हुई थी।
पाकिस्तान से सीमा व्यापार बंद
22 अप्रैल को हुए पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत ने पाकिस्तान के प्रति सख्त रुख अपना लिया था। जांच में पाकिस्तानी आतंकियों की संलिप्तता सामने आने के बाद दोनों देशों के बीच व्यापार और आवाजाही पर पूरी तरह विराम लग गया था। इसके बीच भारत ने अफगानिस्तान के व्यापार को नुकसान से बचाने के लिए विशेष अनुमति देकर 5 ट्रकों को प्रवेश की छूट दी है।
पाकिस्तान में फंसे थे 160 अफगानी ट्रक
पाकिस्तान ने भारत की सख्ती के बाद अफगानिस्तानी ट्रकों को अटारी बॉर्डर तक जाने से रोक दिया था। हालांकि, अफगान सरकार के हस्तक्षेप के बाद पाकिस्तान ने 25 अप्रैल तक अपने क्षेत्र में दाखिल हो चुके ट्रकों को अटारी तक जाने की अनुमति दी थी। रिपोर्ट्स के अनुसार, करीब 160 ट्रक पाकिस्तान में फंसे थे, जिन्हें भारत सरकार की विशेष नीति के तहत धीरे-धीरे प्रवेश की इजाजत दी जा रही है।
भारत-अफगान व्यापार का अहम रास्ता है अटारी पोर्ट
अटारी, अमृतसर से 28 किमी की दूरी पर स्थित है और यह भारत-पाक व्यापार का प्रमुख जमीनी पोर्ट है। 120 एकड़ में फैला यह पोर्ट नेशनल हाईवे-1 से जुड़ा हुआ है और अफगानिस्तान से आने वाले माल के लिए यह एक महत्वपूर्ण मार्ग है। पाकिस्तान के रास्ता न देने की स्थिति में यही एक वैकल्पिक मार्ग है, जिससे भारत-अफगान व्यापार की निरंतरता बनी रह सकती है।
2023-24 में अटारी से हुआ 3886 करोड़ रुपए का व्यापार
सरकारी आंकड़ों के अनुसार, वित्त वर्ष 2023-24 में अटारी पोर्ट से 3886 करोड़ रुपए का व्यापार दर्ज किया गया। इस दौरान कुल 6871 कार्गो मूवमेंट्स इस रूट से हुईं। यदि पाकिस्तान इस मार्ग को बंद रखता है, तो इसका सीधा असर भारत और अफगानिस्तान के बीच हो रहे व्यापार पर पड़ेगा। सूत्रों के मुताबिक, आने वाले दिनों में और भी कई अफगान ट्रकों को भारत में प्रवेश की अनुमति दी जा सकती है।