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जबलपुर की चिक्की, दुबई और अमेरिका तक मांग

कई वैरायटियां होती हैं तैयार, हर माह करीब 10 क्विंटल की सेल

हर्षित चौरसिया-जबलपुर। जबलपुर की चिक्की (गुड़ और मूंगफली बनी पट्टी-लैय्या) की डिमांड देश-प्रदेश नहीं बल्कि दुबई व अमेरिका तक है। ठंड के मौसम में सबसे ज्यादा पसंद की जाने वाली पट्टी लैय्या की हर माह करीब 10-12 क्विंटल खपत हो रही है। विदेश में रहने वाले भी इसे खूब पसंद करते हैं। लैय्या निर्माता संजय अग्रवाल ने बताया कि इसे बनाने का काम तीन पीढ़ियों से कर रहे हैं।

इसे बनाने के लिए मेरठ से गुड़ और गुजरात से मूंगफली मंगाई जाती है। पंजाब व हरियाणा में गुड़- मूंगफली से बनी पट्टी लैय्या की मांग ज्यादा है तो दिल्ली, राजस्थान और दक्षिण भारत में राजगिर सहित अन्य वैरायटी की। शकर के साथ ड्रायफू्रट्स वाली लैय्या डिमांड पर तैयार की जाती है। इसकी एक किलो की कीमत करीब 600-1000 रुपए के बीच होती है।

ठंड में सेहत के लिए फायदेमंद

विशेषज्ञ चिकित्सक डॉ. विजय आनंद मरावी ने बताया कि ठंड के समय गुड़, तिल और मूंगफली का सेवन सेहत के लिए फायदेमंद होता है। इस समय गुड़ से बनी पट्टी लैय्या खाने से शरीर को ऊर्जा व गरमाहट मिलती है। गुड़ में आयरन प्रचुर मात्रा में होता है इससे ब्लड भी बढ़ता है।

अमेरिका में भाई को भेजी

वेटरनरी कॉलेज के प्रोफेसर डॉ. आदित्य मिश्रा न्यूजर्सी में रहने वाले भाई डॉ. अनुराग मिश्रा के लिए 5 किलो गुड़-मूंगफली, 5 किलो राजगिर की लैय्या तैयार करवाकर भेज रहे हैं।

दुबई में मामा के घर भेजी

जबलपुर कमानिया गेट निवासी शुभम सुहाने ने बताया कि दुबई में अपने मामाजी के घर 5 किलो लैय्या भेजी है। साथ ही नागपुर व मुबंई में भी रिश्तेदारों की पहली पसंद है, उन्हें भी लैय्या भेज रहे हैं।

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