
अहमदाबाद। हाल ही में हुए प्लेन क्रैश हादसे ने न केवल अहमदाबाद बल्कि पूरे देश को गमगीन कर दिया। इस भयावह त्रासदी में कई जिंदगियां समय से पहले ही बुझ गईं। इस दुख की घड़ी में जहां पीड़ित परिवारों पर दुखों का पहाड़ टूटा है, वहीं पूरे शहर ने मिलकर उन्हें श्रद्धांजलि देने का एक अनोखा तरीका अपनाया है।
शहर बना मौन श्रद्धांजलि स्थल
अहमदाबाद में लगे होर्डिंग्स पर अब न कोई प्रोडक्ट की तस्वीर है, न ही कोई सेल या ब्रांडिंग का संदेश। इन सभी होर्डिंग्स पर केवल एक भावनात्मक लाइन लिखी गई है- “हम नहीं भूले हैं…”।
इन शब्दों के साथ प्लेन क्रैश में जान गंवाने वाले लोगों को मूक श्रद्धांजलि दी जा रही है। यह पहल अहमदाबाद होर्डिंग संगठन द्वारा की गई है।
न कोई प्रचार, न कोई विज्ञापन… सिर्फ संवेदना
आम तौर पर चौराहों, ट्रैफिक सिग्नल्स और बाजार क्षेत्रों में लगे होर्डिंग्स व्यापारिक प्रतिस्पर्धा से भरे रहते हैं, लेकिन इस बार पूरा शहर एक स्वर में कहता दिख रहा है कि वे अपने खोए हुए नागरिकों को भूले नहीं हैं।
जहां एक ओर मंदिरों, मस्जिदों, गुरुद्वारों और चर्चों में पीड़ित आत्माओं की शांति के लिए विशेष प्रार्थनाएं और हवन किए जा रहे हैं, वहीं शहरवासियों ने अपने-अपने स्तर पर संवेदना व्यक्त करने का प्रयास किया है। स्कूलों, कॉलेजों और दफ्तरों में दो मिनट का मौन, मोमबत्ती जलाकर श्रद्धांजलि और अब होर्डिंग्स के जरिए एक संगठित भावनात्मक प्रस्तुति दर्शाता है कि अहमदाबाद एकजुट है।
अहमदाबाद की यह सामूहिक पहल केवल एक शोक नहीं, बल्कि एक संदेश है कि इंसानियत आज भी जिंदा है। जब शहर अपने दुख को साझा करता है, तब वह और भी मजबूत बनता है।
12 जून को हुआ प्लेन हादसा
12 जून को दोपहर करीब 1:38 बजे अहमदाबाद के सरदार वल्लभभाई पटेल अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से लंदन के लिए उड़ान भरने वाली एयर इंडिया की फ्लाइट AI-171 बोइंग 787-8 ड्रीमलाइनर टेकऑफ के कुछ मिनट बाद मेघाणीनगर में बीजे मेडिकल कॉलेज के परिसर में दुर्घटनाग्रस्त हो गई। इस भयावह हादसे में विमान में सवार 242 यात्रियों और क्रू के सदस्यों में से 241 की मौत हो गई, जिसमें गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री विजय रूपाणी भी शामिल थे। केवल एक यात्री, विश्वास कुमार रमेश चमत्कारिक रूप से बच गए। विमान के मलबे से ब्लैक बॉक्स बरामद किया गया है, जो हादसे के कारणों का पता लगाने में मदद करेगा। हादसे में मेडिकल कॉलेज के 5 छात्रों सहित 29 अन्य लोगों की भी जान गई। केंद्र सरकार ने जांच के लिए उच्च स्तरीय समिति गठित की है और पीड़ितों के परिवारों को मुआवजा देने की घोषणा की गई है।